
अमृत स्वरुप न्यूज गोंडा
14 मिनट में ऑटोमोबाइल्स एम्बुलेंस, टीचर्स ने राहत कार्यों की कमान संभाली
जिले के 900 से अधिक बड़े अधिकारी और कर्मचारी राहत कार्य में लगाए गए
गोण्डा। जिले के मोतीगंज-जिलेही हिंदुस्तान के बीच गुरुवार को हुई ट्रेन दुर्घटना एक गंभीर और विनाशकारी घटना थी, लेकिन प्रशासनिक अधिकारियों ने इसे एक बड़ी त्रासदी के रूप में सामने ला दिया।
मंडल अध्यक्ष देवीपाटन शशि षरीथ लाल सुशील की गवाही और नामांकन के नेतृत्व में राहत और राहत अवकाश अवकाश ने यह साबित कर दिया कि जब अधिकारी नियुक्त और नियुक्त होंगे, तो किसी भी आपदा का सामना नहीं किया जा सकता है। प्रशासन एवं राहत दल की संयुक्त कोशिश से बड़ी संख्या में लोगों की जान बचायी जा सकी और उन्हें समय पर मदद उपलब्ध करायी गयी। इस पूर्ण राहत और बचाव कार्य को सफल बनाने में भी योगदान काफी अहम रही।
गोंडा के पर्लगंज-जिला हिंदुस्तान के बीच पिकौरा गांव में हुआ ये हादसा। गुरुवार दोपहर करीब 2.40 बजे इसकी सूचना प्राप्त हुई। जिला प्रशासन द्वारा एम्बुलेंस की व्यवस्था की गई। करीब 14 मिनट यानी 2.54 बजे तक बिल्डर गाड़ियां पहुंच गई थीं। नोमी शर्मा ने राहत एवं बचाव कार्य की कमान संभाली। उन्होंने गरीबों का इलाज किया और लोगों को सुरक्षित बाहर निकालने की व्यवस्था की। युवाओं की तत्परता और युवाओं के कारण तेजी से आई और स्कैन को समय पर सहायता मिली। वहीं, पुलिस विभाग में पुलिस महानिदेशक अविनाश जायसवाल की नजर में इस राहत एवं बचाव कार्य को तेजी से जारी किया जा रहा है।
900 से अधिक अधिकारी-कर्मचारी लागे
जिला प्रशासन, पुलिस विभाग, आपदा राहत विभाग, स्वास्थ्य विभाग, आपदा राहत एवं बचाव कार्य को आगे बढ़ाने के लिए सामूहिक राहत एवं बचाव कार्य की योजना बनाई गई। सिर्फ प्रशासन की ओर से 900 से ज्यादा बड़े अधिकारियों और कर्मचारियों को राहत कार्य में लगाया गया है। इसके अतिरिक्त लगाए गए मशाल जुलूस में से एक और चार लोगों ने लोगों को सुरक्षित निकासी में अहम भूमिका निभाई। कंपनी पर पानी, भोजन और चिकित्सा सहायता की व्यवस्था तुरंत दी गई।
फ़ेयर और छोटे संस्थानों से लोगों को बाहर निकालना
चर्च को एम्बुलेंस और अन्य व्हीलचेयर से अस्पताल में भर्ती कराया गया। इस दौरान करीब 40 एम्बुलेंस आर्काइव। जिसमें 175 से अधिक लोग घटना स्थल से बाहर निकलते हैं। जबकि अन्य यात्रियों को करीब 22 बच्चे और 16 छोटे भाई-बहन रेलवे स्टेशन तक ले गए। यहां तक कि ड्राइवर स्कॉर्ट की गाड़ी से भी यात्रियों को ले जाता था।
एयरटेल ने यह सुनिश्चित किया कि सभी यात्रियों को आवश्यक सहायता मिले और उन्हें सुरक्षित स्थान पर रखा जाए। रेलवे स्टेशन और बस स्टेशन से यात्रियों को टिकटें देने का काम किया गया। जिला प्रशासन ने पार्टिसिपेंट्स और सभी श्रमिकों के उपयोग के लिए मनकापुर को अन्य स्थानों तक सुरक्षित सुरक्षा प्रदान करने के लिए ऑउटडॉक्स को तत्काल राहत प्रदान की है।
राहत सामग्री का वितरण
राहत सामग्री में 1200 पिज्जा बिस्किट, 1000 पिज्जा बिस्किट, 1000 पिज्जा बिस्किट और 400 चाय के वितरण की व्यवस्था की गई। इसके अलावा, रसेल को व्यापक स्तर पर भी पहुंचाया गया, ताकि रिज़र्व को आपातकालीन चिकित्सा सहायता मिल सके।
- स्पेशल ट्रेन में यात्रियों का हाल
रेस्तरां और पुलिस कप्तान ने शाम 6.30 बजे तक एक-एक यात्री को घटना स्थल से सुरक्षित सुरक्षित स्थान तक पहुंचाया। यहां से वह सीधे मनकापुर रेलवे स्टेशन पहुंच गया। मिनिमम कीर्तिवर्धन सिंह के साथ कमिश्नर शशि रतन लाल सुशील भी मौजूद रहे। अल्पसंख्यक गोंडा/केंद्रीय राज्य मंत्री कीर्तिवर्धन सिंह ने पूरे प्रकरण की जानकारी दी, जिसके बाद मंडलायुक्त देवीपाटन मंडल और मंडल ने विशेष ट्रेन में बैठे यात्रियों से उनका हालचाल लिया। गोरखपुर प्रशासन एवं रेलवे से सहयोग कर नाइटलाइट भोजन की व्यवस्था भी गोरखपुर में सुनिश्चित की गई। रात करीब 9 बजे स्पेशल ट्रेन को रवाना करने के बाद मंडल अध्यापिका देवी मंडल और प्रवेश जिला अस्पताल में स्कॉलरशिप की बैठक हुई।